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पेट की गैस को जड़ से खत्म करने के उपाय

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 पेट की गैस को जड़ से खत्म करने के उपायपेट की गैस को जड़ से खत्म करने के उपाय पेट की गैस एक आम समस्या है, जिससे कई लोग परेशान रहते हैं। इसे कम करने और जड़ से खत्म करने के लिए आप कुछ उपाय कर सकते हैं।  पेट की गैस को जड़ से खत्म करने के उपाय खानपान में बदलाव  * फाइबर युक्त खाद्य पदार्थों का धीरे-धीरे सेवन: फाइबर पेट की सेहत के लिए जरूरी है, लेकिन बहुत ज्यादा फाइबर एक बार में लेने से गैस बन सकती है। इसलिए फाइबर युक्त खाद्य पदार्थों को धीरे-धीरे अपने आहार में शामिल करें।  * गैस पैदा करने वाले खाद्य पदार्थों से परहेज: बीन्स, ब्रोकली, गोभी, प्याज आदि खाद्य पदार्थों से गैस बन सकती है। इसलिए इन्हें कम मात्रा में या बिल्कुल न खाएं।  * कार्बोनेटेड पेय और शराब से परहेज: इनमें कार्बन डाइऑक्साइड होता है, जिससे पेट में गैस बन सकती है।  * छोटे-छोटे हिस्से में खाएं: एक बार में बहुत ज्यादा खाने से पेट फूल सकता है और गैस बन सकती है।  * खाना खाते समय पानी न पिएं: खाने के साथ पानी पीने से पेट में गैस बन सकती है। जीवनशैली में बदलाव  * ध्यान और योग: तनाव गैस की समस्या ...

फैटी लीवर: समझें और बचाव करें

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 फैटी लीवर: समझें और बचाव करें फैटी लीवर एक ऐसी स्थिति है जिसमें लीवर में अतिरिक्त वसा जमा हो जाती है। यह कई कारणों से हो सकता है, जैसे कि मोटापा , मधुमेह , उच्च कोलेस्ट्रॉल और अत्यधिक शराब पीना। फैटी लीवर के प्रकार मुख्य रूप से दो प्रकार के फैटी लीवर होते हैं:  * अल्कोहोलिक फैटी लीवर: यह अधिक मात्रा में शराब पीने के कारण होता है।  * नॉन-अल्कोहोलिक फैटी लीवर (NAFLD): यह उन लोगों में होता है जो अधिक शराब नहीं पीते हैं। NAFLD आमतौर पर मोटापे, टाइप 2 डायबिटीज और उच्च कोलेस्ट्रॉल के साथ जुड़ा होता है। फैटी लीवर: समझें और बचाव करें फैटी लीवर के लक्षण: अक्सर फैटी लीवर के शुरुआती चरणों में कोई लक्षण नहीं दिखते हैं। जैसे-जैसे यह स्थिति बिगड़ती है, निम्नलिखित लक्षण दिखाई दे सकते हैं:  * थकान  * भूख न लगना  * वजन कम होना  * पेट में दर्द  * पीली आंखें या त्वचा * अक्सर कोई लक्षण नहीं होते हैं। फैटी लीवर के कारण फैटी लीवर के कई कारण हो सकते हैं, जिनमें शामिल हैं:  * मोटापा:  अधिक वजन होने से लीवर में वसा जमा होने का खतरा बढ़ जाता है।  * टाइप 2 ड...

Eye Flu Treatment in hindi - आई फ्लू का इलाज

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आई फ्लू क्या है (eye flu kya hai)  Eye flu treatment in hindi आई फ्लू (eye flu) जिसे हम आँख आने के नाम से जानते है एक आम संक्रमण है,जिसका सामना हम सभी ने कभी न कभी किया होगा।  इस संक्रमण में आंखों में जलन होती है।ऑय फ्लू (eye flu treatment) का इलाज कैसे करना चाहिए,ये कम ही लोग जानते और समझते हैं। आँखों के संक्रमण के कई कारण हो सकते हैं, पर इसका मुख्य कारण हैं,छोटे जीवाणु और वायरस से हुआ संक्रमण।  आमतौर पर यह एक एलर्जिक रिएक्शन की वजह से होता है। लेकिन कई मामलों में बैक्टीरिया का संक्रमण भी इसके लिए जिम्मेदार होता है। कभी कभी ऐसे संक्रमण आँखों में कुछ चले जाने की वजह से होते हैं जैसे धुल या गन्दगी।  जो लोग खराब लेंस पहनते हैं उनके भी इस संक्रमण के शिकार होने की संभावना काफी ज़्यादा रहती है। इस संक्रमण की शुरुआत एक आंख से ही होती है, लेकिन जल्द ही दूसरी आंख भी इसकी चपेट में आ जाती है। आँखों का संक्रमण या ऑय फ्लू साधारणतः मौसम में परिवर्तन के साथ देखा जाता है। यह ठंड मौसम या बरसात के मौसम में ज्यादातर होता है | यह एक संक्रामक बीमारी है, जो किसी भी व्यक्ति को हो सकता है।...

24 घंटे में खुजली का जड़ से इलाज,खुजली के घरेलू उपाय

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खुजली के घरेलू उपाय (khujli ki dawa)  खुजली क्या है? (What is itching)  त्वचा के किसी भी हिस्से में त्वचा को खुरचने की अनुभूति होना ही खुजली(khujli) है। खुजली(itching)में एक शरीर में एक तरह का सेनसेशन होता है जो कि त्वचा को नोंचने (Scratch) या खुजलाने पर मजबूर कर देता है। 24 घंटे में खुजली से छुटकारा पाने के घरेलू उपाय   खुजली के प्रकार (Type of Itching)  • बिना दानों वाली खुजली  • दाने वाली खुजली  • बिना दाने या दाने वाली खुजली के कारण खुजली के अन्य लक्षण उत्पन्न होते हैं। खुजली पूरी त्वचा, सिर, मुंह, पांव, अंगुलियों, नाक, हाथ या प्रजनन अंग आदि अंगों में हो जाती है। खुजली अधिकतर इन्हीं स्थानों पर होती है।  • बिना दानों वाली या दानों वाली खुजली खुश्क या तर होती है।  खुजली क्यों होती है? (Reasons of itching)  कई बार खुजली (Khujli) सामान्य हो सकती है लेकिन कई बार यह त्वचा संबंधी किसी बीमारी या अंदरूनी किसी बड़ी बीमारी का संकेत भी हो सकती है। इचिंग या खुजली को स्वास्थ्य की भाषा में प्रूराइटस भी कहते हैं।  कई बार व्यक्ति बिना खुजली भी खुजलाता...

शीघ्रपतन(premature ejaculation) की समस्या ,करें ये आसान आयुर्वेदिक उपचार ,

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  शीघ्रपतन की समस्या क्या है(what is premature ejaculation) Ayurvedic medicine for premature ejaculation कई लोग शीघ्रपतन या शीघ्र स्खलन (Premature ejaculation) की समस्या से पीड़ित हो सकते हैं। आइये शीघ्रपतन के बारे में विस्तृत रूप से जानते हैं इस समस्या के बारे में   की वास्तव में शीघ्र स्खलन की समस्या क्या है?  जब भी कोई पुरुष सेक्स करता है और वह शुरुआत के दो से तीन मिनट के अंदर या उससे भी पहले स्खलित हो जाता है या उसका वीर्य निकल जाता है तो इस समस्या को शीघ्र स्खलन रोग कहते हैं। इस बीमारी से पीड़ित मरीजों के सेक्स की अवधि काफी छोटी होती है। हालांकि सेक्स करने में कुल कितना समय लगना चाहिए और कितनी देर बाद वीर्य स्खलित होना चाहिए इसके लिए कोई निर्धारित मापदंड नहीं हैं। आमतौर पर एक स्वस्थ पुरुष के संभोग की अवधि 2 से 5 मिनट के बीच की मानी जाती है जबकि शीघ्रपतन से पीड़ित कुछ मरीज तो एक मिनट के अंदर ही स्खलित हो जाते हैं।  शीघ्रपतन की आयुर्वेदिक औषधियां (ayurvedic medicine for premature ejaculation) यदि शीघ्रपतन की एलोपैथिक औषधियों की बात करें तो बाजार में...

पुरानी खाँसी की देसी दवा। khansi ke gharelu upay

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Khansi ki dava   यदि लक्षण और प्रकार के अनुसार खांसी की दवा(khansi ki dava) दी जाए तो पुरानी से पुरानी खांसी की ठीक हो सकती है। इसलिए खांसी की दवा देने से पहले यह आवश्यक है कि खांसी के लक्षण(khansi ke lakshan) ध्यान में रखकर खांसी को पहचाना जाए की खांसी किस प्रकार की है। खांसी क्या है(khansi kya hai) गले अथवा श्वसन मार्ग मैं होने वाली किसी भी प्रकार की उत्तेजना अथवा रुकावट के फलस्वरूप श्वसन तंत्र की प्रतिक्रिया के फल स्वरुप तेज गति से घरघराहट के साथ श्वास का बाहर निकलना खांसी(khansi) कहलाता है। खांसी श्वसन मार्ग की एक विशिष्ट प्रतिक्रिया होती है जो अनचाहे पदार्थों को श्वसन  पथ से निकालने की एक कोशिश होती है। खांसी के कारण(khansi ke karan ) खांसी के निम्नलिखित कारण हो सकते है- 1.श्वसन तंत्र की अंतर्निहित बीमारियां जैसे, अस्थमा ,ब्रोंकाइटिस,copd, क्षय रोग,वायरल संक्रमण आदि। 2.भोज्य पदार्थों ओर तरल को अनुचित तरीकों से निगलना। 3.धूल,धुंआ,मिट्टी वायु प्रदूषण आदि के कारण भी खांसी हो सकती है। 4.तम्बाकू का अत्यधिक उपयोग अथवा अत्यधिक धूम्रपान। 5.अन्य नशीले पदार्थो का अत्यधिक सेवन। ख...

घुटने के दर्द का रामबाण इलाज है पीआरपी थेरेपी

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  पीआरपी थेरेपी क्या है(what is PRP therapy) PRP therapy for Knee pain आजकल खराब जीवनशैली और नियमित रूप से वर्कआउट नही करना, और अधिक उम्र में घुटनों का दर्द(knee pain) एक आम समस्या बन गई है। घुटनों के दर्द के लिए एलोपैथी में जो दवाएं या उपचार होते है उसके काफी साइड इफेक्ट होते है।जिसके कारण व्यक्ति आयुर्वेद की ओर भागता है,किंतु आराम नही होने पर वह वापस एलोपैथी की शरण में ही आता है। एलोपैथी में इस समय घुटनों के दर्द में एक बहुत ही लाभकारी और हानिरहित थेरेपी का उपयोग घुटनों के दर्द में किया जाने लगा है। पी आर पी थेरेपी। वृद्धावस्था मे घुटनों के दर्द से परेशान मरीजों के लिए प्लेटलेट रिच प्लाज्मा थेरेपी(पी आर पी) एक नया व प्राकृतिक विकल्प बनकर सामने आई है।इस थेरेपी में मरीज के रक्त से प्लेटलेट लेकर घुटनों में इंजेक्ट किया जाता है। कैसे किया जाता है इलाज पी आर पी थेरेपी से( How treat knee pain by PRP therapy) पीआरपी एक इनोवेटिव और प्राकृतिक उपचार है,जो एक सुरक्षित और नोनसर्जिकल विकल्प है। PRP therapy for Knee pain चूंकि रक्त में लाल रक्त कणिकाएं,श्वेत रक्त कणिकाएं प्लाज्मा और प्लेटलेट ...

बवासीर का अंत तुरंत,कर लें ये उपाय

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बवासीर या पाइल्स का घरेलू उपचार बवासीर का अंत तुरंत,कर लें ये उपाय   बवासीर यानि पाइल्स जिसे चिकित्सीय भाषा में हेमरोइड्स भी कहते हैं, एक ऐसी बीमारी है  जिसमें मल त्याग के वक्त बहुत कठिनाई व दर्द होता है।  इस स्थिति में गुदा के अंदर व बाहर तथा मलाशय का निचला हिस्सा सूज जाता है। सूजन के कारण असहनीय दर्द के साथ असहजता भी बढ़ती है। कई बार लोग झिझक के मारे डॉक्टर से बात करने में भी कतराते हैं। इसके कारण न केवल परेशानी बल्कि संक्रमण का खतरा भी ज्यादा हो जाता है। किसी भी उम्र के लोगों को ये बीमारी अपनी चपेट में ले सकती है। आइए जानते हैं बवासीर के घरेलू उपचार,सावधानियों और जीवनशैली के बारे में। बवासीर या पाइल्स के घरेलू उपचार 1.नारियल की दाड़ी और गाय के दूध का दही बवासीर में रामबाण नारियल की दाड़ी आज हम आपको बवासीर का एक घरेलू सटीक उपचार बताएंगे जिससे 48 घंटे के भीतर बवासीर (Piles) का खात्मा हो जायेगा।इसके लिए गाय के दूध की दही तथा एक नारियल चाहिए। इस नुस्खे को बनाने के लिए सबसे पहले नारियल की जटाओं को जलाकर उसकी राख को किसी स्वच्छ कांच की शीशी में पैक कर दें। सुबह के वक्त प...

Knee pain home remedies।घुटने के दर्द के कारण और घरेलू उपचार

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 घुटनों के दर्द(knee pain) के कारण(causes) और घरेलू उपचार(home remedies) घुटने के दर्द के कारण ,ये है घरेलू उपचार घुटने के दर्द(knee pain) का कारण(causes) जानने के पश्चात आसानी से घरेलू उपचार(home remedies) द्वारा घुटने के दर्द से छुटकारा पाया जा सकता है। वर्तमान जीवनशैली के कारण बच्चों बूढ़ों और जवानों को कई प्रकार की स्वास्थ्य समस्याओं का सामना करना पड़ता है,उन्हीं समस्याओं में से एक है "घुटनों में दर्द"। वैसे तो यह माना जाता है, की यह समस्या आम तौर पर बुजुर्गों में होती है किंतु वर्तमान दिनचर्या और खानपान की आदतों, के कारण घुटनों में दर्द (knee pain)की समस्या आजकल बच्चों और युवाओं में भी देखने को मिल रही है। वैसे तो घुटनों का दर्द कोई बड़ी समस्या नहीं है किंतु यदि ध्यान नहीं दिया जाए और लंबे समय तक घुटनों में दर्द बना रहे तो यह सामान्य दिनचर्या को भी प्रभावित करना शुरू कर देता है और व्यक्ति अपने दैनिक कार्यों को करने में भी परेशानी  का अनुभव करने लगता है। यदि समय पर घुटनों के दर्द का इलाज नहीं करवाया गया तो यह समस्या दिन प्रतिदिन बढ़ती जाती है और प्रभावित व्यक्ति का जीवन द...

एसिडिटी के घरेलू नुस्खे(home remedies for acidity)

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 What is acidity: क्या होती है एसिडिटी Home remedies for acidity आधुनिक जीवन शैली के कारण एसिडिटी होना एक आम समस्या है, कई लोग इस परेशानी से जूझते हैं। कई लोगों को ऐसा लगता है कि एसिडिटी खाना खाने से बनती है, लेकिन ऐसा नहीं है। सामान्य तौर पर रोटी-सब्जी, दूध व फल खाने से एसिडिटी की समस्या नहीं होती। यह समस्या तब होती है, जब आप अधिक मात्रा में कुछ भी खा लेते हैं या गरिष्ठ व तला-भुना भोजन करते हैं। एसिडिटी की समस्या तब होती है जब पेट में मौजूद एसिड गले की नली यानी कि इसोफैगस तक आ जाता है। एसिडिटी होने पर पेट के ऊपरी भाग में जलन व दर्द होना, भूख ना लगना, खट्टी डकार आना और पेट में गैस बनने जैसी परेशानियां होती हैं। सीने में जलन जो भोजन करने के बाद कुछ घंटो तक लगातार रहती है।खट्टी डकारों का आना कई बार डकार के साथ खाने का भी गले तक आता है।अत्यधिक डकार आना और मुँह का स्वाद कड़वा होना।पेट फूलना।मिचलाहट होना एवं उल्टी आना।गले में घरघराहट होना।साँस लेते समय दुर्गन्ध आना।सिर और पेट में दर्द।बैचेनी होना और हिचकी आना। हम जो भोजन करते हैं, वह अन्नप्रणाली के माध्यम से हमारे पेट में जाता है। आपके ...